रातों की तन्हाई में भी सरल सहज मधुमास लिखा !
ग़म आसूं के संग घुलता है दूरी के एहसासों में,
एक झलक पाने को तेरी 'दूरी का एहसास' लिखा !!
चाहा मैंनें था तुमको तो दिल से एक नया विश्वास लिखा !
तुम रहे दूर मुझसे पर मैनें तुमको अपने पास लिखा !
ग़म जितने आंसू उतने बस दर्द सिमट कर रह जाते,
एक झलक पाने को तेरी ' दूरी का एहसास ' लिखा !!
© Pramod Kumar Arya
DOORI KA EHSAAS
kya baat kya baat
ReplyDeleteThank u so much....
ReplyDeleteThank u so much....
ReplyDeleteअति उत्तम।।।।
ReplyDeleteअति उत्तम।।।।
ReplyDeleteThank u Ruchi🙏
ReplyDeleteThank u Ruchi🙏
ReplyDeleteSuperb...������
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